भारत सरकार ने इस साल केजीएमयू को ओवरऑल श्रेणी में तीसरा स्थान दिया
लखनऊ। किंग जार्ज चिकित्सा विश्वविद्यालय के प्रशासनिक भवन स्थित सेल्बी हॉल में बुद्धवार को आशुतोष टंडन गोपाल जी मंत्री चिकित्सा शिक्षा एवं प्राविधिक शिक्षा विभाग के कर कमलों द्वारा नवनिर्मित 178 कमरों के महिला छात्रावास एवं संकाय सदस्यो ंके लिए 36 टाइप वी आवासों को लोकार्पण किया गया।
एनएचएम के कार्यो में भी तेजी
इस दौरन पर केजीएमयू के कुलपति ने कहा कि पिछले एक वर्ष से अधिक समय में मंत्री चिकित्सा शिक्षा आशुतोष टंडन के नेतृत्व में चिकित्सा विश्वविद्यालय में विकास की प्रक्रिया काफी तीव्र गति से चल रही है जिसमे बर्न यूनिट, आर्गन ट्रांसप्लांट यूनिट का निर्माण तथा इंस्टीट्यूट ऑफ स्किल एवं वेक्टर जनित रोगों उपचार के लिए निर्माण कार्य चल रहा है। चिकित्सा विश्वविद्यालय में भारत सरकार द्वारा संचालित एनएचएम के कार्यो में भी तेजी आई है।
यह भी कहा गया
इसी क्रम में विश्वविद्यालय के कर्मचारियों के लिए एकल कक्ष आवास का भी निर्माण कार्य चल रहा है। प्रमुख सचिव डॉ. रजनीश दुबे द्वारा चिकित्सा शिक्षा विभाग का कार्यभार ग्रहण करने के केलिए विश्वविद्यालय के विकास से संबधित विषयों पर और तेजी से कार्य चल रहा है। चिकित्सा विश्वविद्यालय के नियमावली और परिनियमावली में संशोधन न होने के कारण संकाय सदस्यों, रेजिडेंट चिकित्सकों एवं कर्मचारियों को शासनादेश हो जाने के लिए भी अभी तक एसजीपीजीआई एमएस के समान वेतन और भत्ते प्राप्त नही हो पा रहे थे, इस दिशा में भी प्रमुख सचिव चिकित्सा शिक्षा विभाग द्वारा भरपूर सहयोग प्रदान किया जा रहा है तथा विश्वविद्यालय के कर्मचारियों के संवर्ग पुनर्गठन के कार्य में भी सहयोग दिया जा रहा है।
तीसरा स्थान प्रदान किया
चिकित्सा विश्वविद्यालय देश का सबसे बड़ा चिकित्सा संस्थान है। यहां पर 4500 से ज्यादा बिस्तरों पर मरीजों को भर्ती कर इलाज किया जाता हैं। 700 से ज्यादा इमरजेंसी एवं ट्रॉमा के बिस्तर है, 450 के करीब संकाय सदस्य एवं करीब 5500 विद्यार्थी एवं इतने ही कर्मचारी है। मानव संसाधन विभाग, भारत सरकार द्वारा इस वर्ष चिकित्सा विश्वविद्यालय को ओवर ऑल श्रेणी में तीसरा स्थान प्रदान किया गया है।
विश्वविद्यालय के नियमावली में इंस्टीट्यूट ऑफ पैरामेडिकल एवं नर्सिंग का प्रबंध नही जिसकी वजह से इनके लिए अलग भवन का निर्माण नही हो पा रहा है। चिकित्सा विश्वविद्यालय के विस्तार एवं विकास के लिए स्थान की बहुत कमी है इसलिए चिकित्सा विश्वविद्यालय को द्वितीय कैम्पस की अत्यंत अवश्यकता है।
देश और प्रदेश का अग्रणी चिकित्सा शिक्षा संस्थान
यह कैम्पस चिकित्सा विश्वविद्यालय के निकट ही होना चाहिए। इसके लिए कम से कम 200 एकड़ जमीन प्रदान किया जाए जिसमें विभिन्न उच्च विशिष्टता वाले विभागो जैसे न्यूक्लियर मेडिसिन, रोबोटिक सर्जरी इत्यादि विभागों का संचलान शुरू किया जा सके। चिकित्सा विश्वविद्यालय देश और प्रदेश का अग्रणी चिकित्सा शिक्षा संस्थान है। प्रदेश सरकार द्वारा देश के विभिन्न जिलों में मेडिकल कॉलेज खोले जा रहे है। किन्तु मरीजो के हित में अगर हमें सरकार द्वारा मरीजो के लिए अतिरिक्त बेड प्रदान किए जाएं तो हमें उसे एक से डेढ़ महीने में संचालित कर सकते हैं। चिकित्सा विश्वविद्यालय में एमसीआई के मानकों की वजह से नए पाठ्यक्रमों के संचालन में बाधा आती है। इसलिए चिकित्सा विश्वविद्यालय में एमसीआई के मानकों के अनुसार संकाय सदस्यों एवं कर्मचारियों के पदो का सृजन किया जाए जिससे विश्वविद्यालय द्वारा नए पाठ्यक्रमों का संचालन किया जा सके।
पूर्ण सहयोग प्रदान किया जायेगा
कार्यक्रम में प्रमुख सचिव, चिकित्सा शिक्षा विभाग डॉ. रजनीश दुबे ने कहा कि केजीएमयू निरंतर उत्कर्ष की ओर अग्रसर है। यहां संकाय सदस्यों कर्मचारियों के लिए आवास की कमी है जिसे दूर करने का प्रयास किया जा रहा है। ये देश के पांच अग्रणी संस्थानों में से एक है। अब यहां पर गुणात्मकता पर फोकस होना चाहिए, जिसके लिए बहुत सारी चीजों की जरूरत है जिस पर हम कार्य कर रहे हंै। संकाय सदस्यों के रिक्त पदों के जल्द से जल्द भरा जाना चाहिए, इसमें जो रुकावटें पैदा हो रही हैं उसे जल्द से जल्द दूर कर दिया जायेगा। रेजिडेंट चिकित्सकों की समस्याओं को भी जल्द से जल्द दूर कर दिया जायेगा। चिकित्सा विश्वविद्यालय की परिनियमावली का संशोधन राज्यपाल के यहां से कराएं इसमें शासन द्वारा पूर्ण सहयोग प्रदान किया जायेगा।
पोस्ट ग्रेजुएशन की सीटों में बढ़ोत्तरी
कालेज ऑफ स्किल के लिए संशोधित डीपीआर विश्वविद्यालय द्वारा जितना जल्द प्रस्तुत किया जायेगा उस पर उतनी जल्द कार्रवाई की जायेगी। चिकित्सा विश्वविद्यालय में संचालित भारत सरकार के विभिन्न कार्यक्रमों के लिए एक अलग सेल बनाएं जिससे इस काम में और तेजी आयेगी। पिछले 6 माह में चिकित्सा विश्वविद्यालय मे कई विकास के कार्य हुए हैं। पोस्ट ग्रेजुएशन की सीटों में भी बढ़ोत्तरी हुई है। चिकित्सा विश्वविद्यालय कुलपति प्रो मदनलाल ब्रह्म भट्ट के नेतृत्व में काफी विकास कर रहा है।
ये उपस्थित रहे
इस अवसर पर कुलसचिव राजेश कुमार राय, वित्त अधिकारी मो जमा, प्रो एसएन शंखवार मुख्य चिकित्सा अधीक्षक, केजीएमयू, प्रो बीके ओझा, चिकित्सा अधीक्षक, प्रो आरके गर्ग, प्रो जीपी सिंह, अधिष्ठाता, छात्र कल्याण, प्रो शादाब मोहम्मद, अधिष्ठाता दंत संकाय एवं सीएमडीएस के प्रबंध निदेशक राजीव निगम सहित विभिन्न संकायों के संकाय सदस्य कर्मचारी एवं छात्र-छात्राएं उपस्थित रहे।