डेस्क। भागदौड़ भरी जिंदगी में आगे निकलने की चाह में तनाव आना स्वाभाविक है। आज की युवा पीढ़ी खासकर तनाव में है। इसमें कभी पढ़ाई तो कभी लाइफस्टाइल के चलते लोग तनाव में आते रहते हैं। लेकिन तनाव घातक हो सकता है। तनाव के कारण पागलपन होना संभव है।
ये हैं लक्षण
अपनी शुरुआती जिंदगी में लिया गया तनाव और रहने की जगह का असर भी आगे चलकर उन्हें पागलपन की ओर ले जा सकता है।
ये अपनाएं
हफ्ते में कम से कम पांच दिन रोजाना आधे घंटे तक शारीरिक तौर पर एक्टिव रहें, धूम्रपान न करें। स्वस्थ और संतुलित खाना खाएं, जिसमें मछली, फल, हरी सब्जियां शामिल हों। रेड मीट और चीनी की मात्रा कम रखें। अगर शराब पीते हैं तो सप्ताह में 14 यूनिट से ज़्यादा न पीयें। हाई ब्लड प्रेशर, हाई कॉलेस्ट्रॉल और टाइप-2 डायबिटीज का ध्यान रखें। स्ट्रोक, हृदय रोग और डायबिटीज के खतरे से बचने के लिए वजन का भी ध्यान रखें। दिमाग को सक्रिय रखें। खुद को सामाजिक तौर पर सक्रिय रखें, यानी अकेले रहने से बचें।