लखनऊ। प्रदेश के विभिन्न चिकित्सालयों में ई-हॉस्पिटल व्यवस्था के अंतर्गत पंजीकरण काउंटर पर कंप्यूटर ऑपरेटर तैनात किए गए हैं। प्रत्येक अस्पताल में इनकी संख्या 15 से 20 है। भारत सरकार की योजना ई हॉस्पिटल का सिल्वेर्टेक कंपनी से अनुबंध 31 मार्च को समाप्त हो रहा है जिसका नवीनीकरण ना होने से अस्पतालों में पर्चा बनाने वाले कर्मचारी हटा दिए जाएंगे। इससे अस्पताल में मरीजों की लम्बी लाइन को संभालना मुश्किल होगा।
बेरोजगार होंगे 200 फार्मासिस्ट
इसके अलावा चिकित्सालयों में फार्मेसी के संचालन व व्यवस्था के लिए मेडिकल सप्लाई कार्पोरेशन लिमिटेड द्वारा फार्मासिस्ट तैनात थे जिनका अनुबंध भी श्री ट्रान इण्डिया से 31 मार्च को खत्म हो रहा है। इस प्रकार लगभग 200 फार्मासिस्ट पूरे प्रदेश में बेरोजगार होंगे और साथ ही चिकित्सालय की व्यवस्था भी प्रभावित हो जाएगी।
जारी रहेगा आंदोलन
प्रदेश सरकार एक तरफ रोजगार देने की बात करती है वहीं केवल मार्च 2019 में ही हजारों कर्मचारियों का अनुबंध खत्म हो रहा है। ऐसे में युवा बेरोजगार होकर भुखमरी की कगार पर जाएंगे। स्वास्थ्य विभाग के सभी कर्मचारियों के हक की लड़ाई लडऩे के लिए और नौकरी बचाने के लिए संयुक्त स्वास्थ आउटसोर्सिंग संविदा कर्मचारी संघ उत्तर प्रदेश के बैनर तले आंदोलन तब तक जारी रहेगा जब तक सरकार आउटसोर्सिंग व्यवस्था के तहत सुरक्षित नौकरी नहीं प्रदान करती। 60 वर्ष की आयु तक नौकरी की मांग संघ की प्राथमिकता है। जय जानकारी प्रदेश मीडिया प्रभारी सच्चिदानंद मिश्रा ने दी।