लखनऊ। चिकित्सक सेवा भाव को लेकर चलते हैं। किसी भी चिकित्सक का व्यवहार बीमार व्यक्ति के मनोवृत्ति के हिसाब से होनी चाहिए। हमें पीड़ा होने पर चिकित्सकीय प्रयोग ही राहत देता है। आज के दौर में अमेरिका और इग्लैण्ड के डॉक्टरों से तुलना नहीं होती क्योंकि उस लेवल के डॉक्टर आज यहां मौजूद हैं।
लखनऊ चिकित्सा के क्षेत्र में आगे बढ़ रहा
उक्त बातें आईएमए और एमएसीएस के तत्वावधान में आयोजित डॉक्टर्स डे पर मुख्य अतिथि उत्तर प्रदेश के डिप्टी सीएम डॉ. दिनेश शर्मा ने कही। उन्होंने कहा कि चिकित्सक प्राणदाता है। लखनऊ चिकित्सा के क्षेत्र में आगे बढ़ रहा है। डॉ. शर्मा ने आयुष विवि के खोले जाने पर कहा कि एक बैठक होने के बाद ही इस पर कार्य किया जाएगा।
चिकित्सकों ने एक नई पहचान बनाई
आईएमए के अध्यक्ष डॉ. सूर्यकांत ने कहा कि आज के समय में सोसायटी एग्रेसिव हो गई है। इसके बावजूद भी लखनऊ के चिकित्सकों ने एक नई पहचान बनाई है। आज के इस दौर में वायलेंस के बावजूद 80 फीसदी मरीज डॉक्टरों भगवान मानते हैं। डॉक्टर सूर्यकांत ने कहा कि मेडिकल र्पोटेक्शन के बारे में ज्यादातर लोगों को जानकारी नहीं है, यहां तक कि किसी भी थाने में इस बारेे में जानकारी नहीं लिखी हुई है।
कार्यक्रम में वायलेंस को लेकर कहा गया कि उत्तर प्रदेश में 19637 मरीज पर एक डॉक्टर है। जबकि एक हजार मरीज पर एक डॉक्टर हो तो राहत मिलेगी। वायलेंस के मामले में ज्यादातर केस तो कोर्ट तक पहुंचते ही नहीं है। उन्होंने कहा कि इस कार्यक्रम के माध्यम से धरती पर ईश्वर के प्रतिरूप को आज सम्मानित करने के लिए 1 जुलाई को यह कार्यक्रम किया गया है।
यह मुख्य बातें
डॉक्टर अथवा क्लीनिक पर हिंसा एक उबलता हुआ विषय है। भाईचारा और हेल्थ केयर वालों के लिए एक बड़ा चैलेंज है। इस समय यह मुद्दा एक नाजुक हालात से गुजर रहा है। इस देश में डॉक्टर अपना योगदान दे रहे हैं। नागरिक यहां के डॉक्टरों की सेवाएं ले रहे हैं और लोग खुश भी हैं। हिंसा के बढ़ते क्रम को लेकर आईएमए इस कार्यक्रम के माध्यम से डॉक्टरों को जानकारी देना चाहता है। डॉक्टरों को प्रेक्टिस करने के लिए हिंसा का नहीं शांति का माहौल चाहिए। इस दौरान एमएसीएस की पत्रिका का विमोचन किया गया।
इनका किया गया सम्मान
1 जुलाई डॉक्टर डे पर पद्यम डॉ. मंसूर हसन, डॉ. राजन सक्सेना, डॉ. सुनील प्रधान, डॉ. एसएन कुरनील, डॉ. एसएस सरकार, डॉ. अनिल खन्ना, डॉ. गीता खन्ना, डॉ. संदीप कपूर, डॉ. डीके वत्सल, डॉ. बीपी सिंह, डॉ. रिचा मिश्रा, डॉ. रतन सिंह, डॉ. अब्बास अली मेहंदी, डॉ. रजत माथुर, डॉ. दीपक अग्रवाल, डॉ. एनके गुप्ता, डॉ. नीरज बोरा, डॉ. आर आहुजा, डॉ. संजय निरंजन का बेहतर कार्य के लिए सम्मान किया गया।